क्या भारत अमेरिका टकराव के रास्ते पर बढ़ रहे हैं ???

अमेरिकी चुनावो में मजबूत उम्मीदवार माने जा रहे पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प चुने जाने पर डॉलर को लेकर सख्त रवैय्या अपना सकते हैं. अब खबरें ये छपने लगी हैं की ट्रम्प के कार्यकाल में उन देशों पर सख्ती की जा सकती है जो अमेरिकी डॉलर को छोड़कर राष्ट्रीय मुद्राओं में व्यापार को तरजीह दे रहे होंगे।

ट्रम्प का निशाना ब्रिक्स समूह के देश हैं, बताया जा रहा है, जो की अब आपसी व्यापार में डॉलर के इस्तेमाल को छोड़ना चाहते हैं जिससे अमेरिका का दखल कम किया जा सके.

पर जहाँ बाइडेन प्रशाषन में ये चलने दिया जा रहा है वहीं ट्रम्प के कार्यकाल में सख्ती की जा सकती है. यदि ऐसी कोई नीति अपनाई जाती है तो निश्चित अमेरिका का टकराव चीन से तो बढ़ेगा पर भारत से भी होगा. जहाँ चीन दुनिया भर में अपनी मुद्रा को बढ़ावा देने में लगा है वहीं भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी अभी हाल में आरबीआई को निर्देश दिया था की वो अगले दस साल में रूपये को अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा बनाने के लिए रणनीति बनाये।

इधर रूस की अध्यक्षता में ब्रिक्स समूह डॉलर छोड़ने और सोने या स्टेबलकॉइन के माध्यम से आपसी व्यापार बढ़ाने पर सहमत हो सकता है. तो अब अमेरिका जो चीन और भारत, दोनों से अरबों का व्यापार करता है, वो इस मुद्दे पर क्या कर सकता है.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *